Wednesday, 3 June 2020

रिपोर्ट में दावा- अमेरिका में सीडीसी ने देश लौटे लोगों, संक्रमण-मौतों के गलत डेटा दिए

अमेरिका में शीर्ष स्वास्थ्य एजेंसी सीडीसी कोरोना के मुकाबले के लिए सही डेटा उपलब्ध कराने में शुरू से ही नाकाम रही। द न्यूयॉर्क टाइम्स ने अपनी रिपोर्ट में यह दावा किया है। यह रिपोर्ट हजारों ईमेल, 100 से अधिक अधिकारियों, विशेषज्ञों, सीडीसी के कर्मचारियों और मेडिकल वर्कर्स के इंटरव्यू के आधार पर तैयार की गई है।

इसमें कहा गया है कि सीडीसी का बेहद पुराना डेटा सिस्टम दूसरे देशों से लौटे अमेरिकियों की सही जानकारी नहीं दे सका। इसने कोरोना की रोकथाम में जुटे अधिकारियों को डुप्लीकेट रिकॉर्ड, गलत फोन नंबर और अधूरे पते उपलब्ध कराए। सीडीसी को दुनिया की प्रमुख स्वास्थ्य एजेंसी कहा जाता है।

इसके बावजूद इसने शुरुआती टेस्ट में कई गलतियां की। इससे समस्याएं बढ़ती गईं। सीडीसी ने सही समय पर संक्रमण और इससे हुई मौतों की गणना भी नहीं की। यहां तक कि उसने अमेरिका में हालात बिगड़ने की आशंका जताने वाली विशेषज्ञों की कई रिपोर्ट को कम भी आंका।

सीडीसी अब भरोसेमंद नहीं

हॉर्वर्ड ग्लोबल हेल्थ इंस्टीट्यूट के डायरेक्टर डॉ. आशीष झा का कहना है कि सीडीसी अब भरोसेमंद नहीं रहा है। सीडीसी के एक पुराने कर्मचारी ने कहा कि सिएटल शहर का एक लड़का सीडीसी से ज्यादा तेजी से कोरोना मरीजों का डेटा अपडेट कर रहा था। उसकी वेबसाइट रोज लाखों लोग देख रहे थे।

इससे सीडीसी के कुछ सदस्य शर्मिंदगी महसूस कर रहे थे। अमेरिका में कोरोना के अब तक 18,82,148 मामले सामने आए हैं। जबकि 1,08,104 मौतें हुई हैं।

यह ट्रायल का आखिरी चरण हो सकता हैः डॉ. एंथनी

वैक्सीन ट्रायल के तीसरे चरण में 30 हजार लोग शामिल होंगे राष्ट्रीय संक्रामक रोग विभाग के प्रमुख डॉ. एंथनी फॉसी ने कहा है कि जुलाई में कोरोना वैक्सीन के ट्रायल का तीसरा चरण शुरू होगा। ट्रायल में 30 हजार लोग शामिल किए जाएंगे। वैक्सीन 18 से 55 साल की उम्र के लोगों पर टेस्ट किया जाएगा। यह ट्रायल का आखिरी चरण हो सकता है।



आज की ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए दैनिक भास्कर ऍप डाउनलोड करें
तस्वीर अमेरिका के मैरीलैंड की है। राष्ट्रपति पद की उम्मीदवारी के लिए यहां प्राइमरी चुनाव हुए। इस दौरान वोट डालने वालों की कतार दिखाई दी। 


from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2XXkUDX
via IFTTT

0 comments:

Post a Comment