Thursday, 23 April 2020

सचिन इस बार जन्मदिन नहीं मनाएंगे, बोले- लोग मेरे आउट न होने की जैसी दुआ करते थे, वैसे ही मैं चाहता हूं लोग भी कोरोना के बीच नॉटआउट रहें

सौरभमिश्रा.(यह इंटरव्यू फोन पर लिया गया है)

24 साल तक करोड़ों भारतीयों की उम्मीदें अपने कंधे पर लेकर चलने वाले सचिन आज 47 साल के हो रहे हैं। 24 अप्रैल 1973 को जन्मे सचिन के दिल में हर पल इंडिया धड़कता रहा है। आज जब देश ऐसी लड़ाई लड़ रहा है, जिसमें दुश्मन दिखाई नहीं देता, तो वे अपने फैन्स से इस जंग में कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा रहने की अपील कर रहे हैं। तेंदुलकर कहते हैं कि आज के हालात में पूरा देश टीम इंडिया है और इसका कोई भी खिलाड़ी आउट नहीं होना चाहिए।

सचिन कहते हैं कि कोरोना के खिलाफ जंग में जीत तभी मुमकिन है, जब लोग घरों पर रहें और सरकार जो कह रही है, उस पर अमल करें। कोरोना, क्रिकेट, जन्मदिन और जिंदगी से जुड़े कई पहलुओं पर सचिन ने भास्कर से बात की...

पहली बार होगा जब लॉकडाउन में आपका 47वां जन्मदिन आ रहा है। यह बर्थडे बाकी 46 जन्मदिन से कितना अलग है?

सचिन: मैं यह जन्मदिन नहीं मना रहा हूं। हालात बहुत खराब हैं। ऐसे में जश्न मनाने का समय नहीं है। इसलिए लोगों से कहूंगा कि आप घर पर रहें। सेफ और हेल्दी रहें। परिवार का ध्यान रखें। यही मेरे लिए सबसे बड़ी खुशी की बात होगी।

कोरोना के बाद जब क्रिकेट पटरी पर लौटेगा, तो वह कितना बदल चुका होगा?

सचिन: जश्न मनाने के तरीके बदल सकते हैं। खिलाड़ी पहले गले मिलते थे, एकदम पास-पास खड़े होते थे और एक-दूसरे से हाथ मिलाते थे। यह बदल सकता है, क्योंकि लोग एक-दूसरे को सोशल डिस्टेंसिंग का मैसेज दे रहे हैं। गेंदबाज भी बॉल को शाइन करने के तरीके बदल सकते हैं। अलग-अलग रूल्स आ सकते हैं। अगर अंपायर खिलाड़ियों के कपड़े या सामान नहीं रखना चाहता तो उसे भी यह अधिकार मिल सकता है। ऐसा हो तो खिलाड़ी को बाउंड्री लाइन पर अपना सामान रखकर गेंदबाजी करने आना होगा।

लॉकडाउन काे नहीं मानने वालों से क्या कहेंगे? आप खुद कैसे मैनेज कर रहे हैं?

सचिन: लॉकडाउन होने से भी पहले से, यानी 15 मार्च से मैं किसी से भी नहीं मिला हूं। दोस्तों से भी नहीं। सबको देश के लिए यही करना पड़ेगा। हमें एकजुट होकर कोरोना के खिलाफ लड़ना होगा, नहीं तो हम जीत नहीं पाएंगे। यह वायरस कहीं दिखता नहीं है। पता भी जल्दी नहीं लगता। जब पता लगता है, तब तक बहुत देर हो चुकी होती है। मैं इसलिए अपने जन्मदिन पर यही विश करूंगा कि जब मैं क्रिकेट खेलता था, तब लोग दुआ करते थे कि मैं आउट न हो जाऊं। तो मेरी भी यही विश है कि यू शूड ऑल्सो नॉट गेट आउट।

आप खिलाड़ियों और लोगों को क्या संदेश देना चाहेंगे? कोरोना वॉरियर्स के लिए आपका क्या मैसेज है?

सचिन: मैं हमेशा से डॉक्टरों का सम्मान करता रहा हूं। पूरी मेडिकल बिरादरी ने बहुत अच्छा काम किया है। खुद की जान खतरे में डालकर हमारी जिंदगी बचा रहे हैं। उनका सम्मान करना हमारा फर्ज है। पुलिस ने भी हमारे लिए अपनी जान खतरे में डाली है। इन्हें सम्मान दीजिए। मेरे लिए तो ये हीरोज हैं। इनसे बदसलूकी ठीक नहीं है। लोग सही तरह से सोचें। यही अपील करूंगा।

आप फिट इंडिया मूवमेंट, यूएन के हाईजीन और सैनिटेशन कैंपेन से जुड़े रहे हैं। मौजूदा माहौल में इसकी कितनी जरूरत महसूस होती है?

सचिन: फिटनेस पर लोग काफी ध्यान दे रहे हैं। सोशल मीडिया पर लोग वीडियो भी शेयर कर रहे हैं। ये अच्छी बात है। फिटनेस के लिए जिम की जरूरत नहीं है। बहुत लोग योग कर रहे हैं। ब्रीदिंग टेक्नीक्स, स्ट्रेचिंग कर रहे हैं। मैं हाईजीन का मैसेज लंबे समय से देते आ रहा हूं। खासतौर पर हैंडवॉश का मैसेज। लगातार साबुन से हाथ धोने से आप अपनी सेहत का काफी हद तक ख्याल रख सकते हैं। इससे पेट की बीमारियों को दूर रखा जा सकता है। हम हमेशा यह सोचते हैं कि हमें कुछ नहीं हो सकता, लेकिन ऐसा नहीं है। कोरोनावायरस से बचें और अपनी सेहत से खिलवाड़ न करें। आपकी हेल्थ का चैलेंज पूरे परिवार का चैलेंज बन जाता है।

कोरोना और दुनियाभर में लॉकडाउन खत्म होने के बाद किस क्रिकेट टूर्नामेंट का इंतजार रहेगा?

सचिन:रोज टीवी के सामने नहीं बैठता हूं। सारे मैच नहीं देखता हूं। रोमांचक मुकाबला होता है तो ही देखता हूं। फिर वह क्रिकेट हो या कोई दूसरा खेल। अच्छा टेनिस चल रहा है तो मैं वो भी देखता हूं। अच्छे लेवल पर मैच चल रहा है तो मैं देखता हूं। इस बार टूर्नामेंट लोगों की सेहत को देखते हुए रद्द किए गए हैं। कोई भी इवेंट किसी की जिंदगी से बड़ा नहीं हो सकता है। हमारे लिए लोगों की जान बचाना ज्यादा जरूरी है। कोई भी टूर्नामेंट सरकार की अनुमति के बाद ही होना चाहिए।

कोरोना से सबसे ज्यादा मुंबई प्रभावित है। इस मुश्किल घड़ी में मुंबई की स्पिरिट को जिंदा रखने के लिए क्या कहेंगे?

सचिन: यह वायरस कब हमला करेगा, पता नहीं चलता है। हमें इकठ्ठा मिलकर इससे लड़ना होगा। हमें सोशल डिस्टेंसिंग रखना है। सरकार और स्वास्थ्य मंत्रालय की गाइडलाइन का पालन करना है। मैं लगातार यही बात दोहरा रहा हूं। लोग सोचते हैं कि हमें कुछ नहीं होगा। हमारी इम्युनिटी अच्छी है, लेकिन अनजाने में आप दूसरे के संपर्क में आकर उसे संक्रमित कर सकते हैं। किसी की लापरवाही से जान जाए, यह बात अच्छी नहीं लगती है।



आज की ताज़ा ख़बरें पढ़ने के लिए दैनिक भास्कर ऍप डाउनलोड करें
Sachin Tendulkar 47th Birthday | Sachin Tendulkar Exclusive Interview With Dainik Bhaskar Over His 47th Happy Birthday


from Dainik Bhaskar https://ift.tt/3525Fgj
via IFTTT

0 comments:

Post a Comment