वैसे तो दुनियाभर में कोरोनावायरस का कहर फैला हुआ है। इससे बचने के लिए देशभर में प्रयास जारी है। इस बीच आंध्र प्रदेश का युवक इस वायरस को मात देकर स्वस्थ होकर घर लौटने में सफल रहा है। शुक्रवार को उसे राजमंड्री के अस्पताल से छुट्टी दे दी गई। वह 22 मार्च को लंदन से लौटा था। इसके बाद हुई जांच में उसकी रिपोर्ट पॉजिटिव आई थी। स्वास्थ्य अधिकारियों ने उसे काकीनाड़ा स्थित जीजीएच के आइसोलेशन वार्ड में रखा था। दो सप्ताह में वह ठीक हो गया। दोनों बार उसकी रिपोर्ट निगेटिव आई। युवक ने कहा- जिन लोगों में भी कोरोना वायरस के लक्षण हैं, वे तुरंत अस्पताल जाकर इलाज करवा लें। ठीक हो जाएंगे। यह बीमारी उतनी खतरनाक नहीं जितनी सोशल मीडिया पर इसे लेकर अफवाहें फैलाई जा रही हैं।
लंदन से आने के बाद मैं कहीं पर नहीं गया- युवक
युवक ने कहा, "मैं लंदन से दुबई और वहां से हैदराबाद पहुंचा। इसके बाद राजमंड्री आया। मेरे साथ यात्रा कर चुके व्यक्ति में भी कोरोना वायरस पॉजिटिव आया है। मैं जल्द ही हरकत में आ गया। मैंने तुरंत चिकित्सा विभाग के अधिकारियों से संपर्क किया। उन्होंने मुझे आइसोलेशन वार्ड में भर्ती किया। मुझे कोरोना वायरस पॉजिटिव रिपोर्ट आने के बाद टेंशन महसूस होने लगी थी। लंदन से आने के बाद मैं कहीं पर नहीं गया। मेरे परिवार वालों को भी क्वारैंटाइन में रखा गया। हालांकि, उनकी रिपोर्ट निगेटिव आई है।"
डॉक्टर्स- नर्स और कर्मचारियों की मेहनत से मैं स्वस्थ हुआ- युवक
युवक ने कहा, "यहां के डॉक्टर्स और नर्सों ने मुझे हिम्मत दी और इलाज किया। हर दिन सुबह और शाम को दवा दी और टेस्ट किया। दो बार रिपोर्ट कोरोना निगेटिव आई। आज मुझे अस्पताल से छुट्टी मिली है। जीजीएच के डॉक्टर्स, नर्स और सैनिटेशन के कर्मचारियों ने बहुत मेहनत की है। उनकी मेहनत से आज मैं स्वस्थ हुआ हूं। सोशल मीडिया में जिस तरह से अफवाएं फैलाई जा रही हैं, कोविड-19 बीमारी उतनी खतनाक नहीं है। डॉक्टरों के सुझावों का पालन करने पर कोरोना वायरस से छुटकारा पाया जा सकता है। मैं ही इसका जीता जागता उदाहरण हूं।"
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